Ratna Jyotish , रायपुर। वैदिक ज्योतिष में ग्रहों का मानव जीवन पर गहरा प्रभाव माना गया है। विभिन्न ग्रहों की शुभ-अशुभ स्थिति व्यक्ति के स्वभाव, करियर, स्वास्थ्य, और मानसिक संतुलन तक को प्रभावित करती है। ज्योतिष के इसी सिद्धांत पर आधारित है रत्न ज्योतिष, जिसमें हर ग्रह का संबंध एक विशेष रत्न से माना जाता है। सही रत्न पहनने से ग्रहों की नकारात्मकता कम हो सकती है और सकारात्मक प्रभाव बढ़ सकते हैं।

PM Modi : 128वें एपिसोड में वंदे मातरम् के 150 वर्ष का विशेष उल्लेख

ज्योतिषाचार्यों का मानना है कि यदि व्यक्ति की कुंडली में कोई ग्रह कमजोर, पीड़ित या नीच का हो, तो उससे संबंधित रत्न धारण करने से जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आते हैं। हालांकि, रत्न पहनने से पहले योग्य विशेषज्ञ से सलाह लेना बेहद जरूरी माना जाता है।

सूर्य ग्रह: आत्मविश्वास और नेतृत्व का कारक

ज्योतिष के अनुसार सूर्य को आत्मविश्वास, प्रतिष्ठा, नेतृत्व क्षमता और ऊर्जा का प्रतीक माना गया है। यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में सूर्य कमजोर हो, तो उसे अक्सर आत्मविश्वास की कमी, निर्णय लेने में मुश्किल, या सरकारी कार्यों में बाधाओं जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता है।

ऐसे जातकों को माणिक्य (Ruby) धारण करने की सलाह दी जाती है। माना जाता है कि माणिक पहनने से:

  • आत्मविश्वास बढ़ता है

  • व्यक्तित्व में आकर्षण आता है

  • नेतृत्व क्षमता मजबूत होती है

  • स्वास्थ्य और ऊर्जा में वृद्धि होती है

हर ग्रह से जुड़े हैं खास रत्न

रत्न ज्योतिष में नौ ग्रहों के लिए अलग-अलग रत्न बताए गए हैं। इनमें शामिल हैं:

  • चंद्रमा – मोती (Pearl)

  • मंगल – मूंगा (Coral)

  • बुध – पन्ना (Emerald)

  • गुरु – पुखराज (Yellow Sapphire)

  • शुक्र – हीरा (Diamond)

  • शनि – नीला नीलम (Blue Sapphire)

  • राहु – गोमेद (Hessonite)

  • केतु – लहसुनिया (Cat’s Eye)

प्रत्येक रत्न अपने विशेष गुणों और ऊर्जाओं के लिए जाना जाता है। माना जाता है कि ये रत्न ग्रहों की तरंगों को आकर्षित कर व्यक्ति के जीवन में संतुलन लाते हैं।

कैसे चुनें सही रत्न?

ज्योतिष विशेषज्ञ बताते हैं कि रत्न धारण करने का निर्णय सिर्फ आकर्षण या फैशन के आधार पर नहीं होना चाहिए। रत्न तभी पहना जाना चाहिए जब:

  • कुंडली में संबंधित ग्रह कमजोर हो

  • ग्रह शुभ हो लेकिन अपनी पूरी शक्ति न दे पा रहा हो

  • ग्रह से जुड़े योग मजबूती की मांग करते हों

इसके अलावा रत्न की शुद्धता, वजन, और धारण करने का शुभ समय भी महत्वपूर्ण माना जाता है।

Share.

About Us

Chif Editor – Prakash Kumar yadav

Founder – Gangaprakash

Contact us

📍 Address:
Ward No. 12, Jhulelal Para, Chhura, District Gariyaband (C.G.) – 493996

📞 Mobile: +91-95891 54969
📧 Email: gangaprakashnews@gmail.com
🌐 Website: www.gangaprakash.com

🆔 RNI No.: CHHHIN/2022/83766
🆔 UDYAM No.: CG-25-0001205

Disclaimer

गंगा प्रकाश छत्तीसगढ के गरियाबंद जिले छुरा(न.प.) से दैनिक समाचार पत्रिका/वेब पोर्टल है। गंगा प्रकाश का उद्देश्य सच्ची खबरों को पाठकों तक पहुंचाने का है। जिसके लिए अनुभवी संवाददाताओं की टीम हमारे साथ जुड़कर कार्य कर रही है। समाचार पत्र/वेब पोर्टल में प्रकाशित समाचार, लेख, विज्ञापन संवाददाताओं द्वारा लिखी कलम व संकलन कर्ता के है। इसके लिए प्रकाशक, मुद्रक, स्वामी, संपादक की कोई जवाबदारी नहीं है। न्यायिक क्षेत्र गरियाबंद जिला है।

Ganga Prakash Copyright © 2025. Designed by Nimble Technology

WhatsApp us

Exit mobile version