निरन्तर प्रयास से ही अपने अंदर की छुपी प्रतिभा को मूर्त रूप दिया जा सकता है जरूरी हैं स्वयं का आत्मविश्वास जगाये रखना

गरियाबंद/फिंगेश्वर (गंगा प्रकाश)। एक दिवसीय फिंगेश्वर प्रवास के दौरान गरियाबंद जिला शिक्षा अधिकारी रमेश कुमार निषाद एक साक्षात्कार के दौरान आगे आने वाले बोर्ड परीक्षाओं की तैयारियों को दृष्टिगत रखते हुए बोर्ड एवं अन्य परिक्षाओं की तैयारी कबए कैसे करें छात्र छात्राओं को मोटिवेट करते हुए काफी गंभीर एवं सकारात्मक दिखे । आगामी बोर्ड परीक्षा बढ़ती प्रतिस्पर्धा को ध्यान में रखते हुए रमेश कुमार निषाद जिला शिक्षा अधिकारी गरियाबंद ने बहुत ही सरल शब्दों अपनी बात रखते हुए कहा आज का दौर प्रतिस्पर्धा का है आप जो भी क्षेत्र से जुड़े हो जिन भी क्षेत्र में कार्य कर रहे हो जिसमें शिक्षाएकलाए व्यापारए व्यवसायिक एवं उद्योग जगत हर क्षेत्र में चुनौती है इसके लिए जरूरी हैं समय.समय पर खुद के अन्दर छुपी प्रतिभा की पहचान कर कड़ी मेहनतएदुरदृष्टि सोच बिना थके निरंतर उन कार्यों पर काम करना। वर्तमान शिक्षा व्यवस्था को दुरूस्त कारगर एवं मजबूती प्रदान करना ही मेरी पहिली प्राथमिकता है इसके लिए अलग.अलग स्तर पर कार्य किया जा रहा है।आज सबसे महत्वपूर्ण एवं अहम छात्र अपने अंदर छुपी प्रतिभा को पहचान कर निरंतर आगे बढ़ने का प्रयास करना अपने अंदर की छुपी प्रतिभा को मूर्त रूप देकर स्वयं का आंकलन करना अपने अंदर की आत्मविश्वास को सुदृढ़ एवं मजबूती प्रदान करना अच्छी पुस्तकें पढ़ना विद्यालय के बाद बचे समय को सही कार्य अर्थात अपनी पढ़ाई लिखाई में लगाना। परीक्षा की तैयारी के लिए एक अलग से लक्ष्य सुनिश्चित करना छोटे छोटे प्रश्नों पर कार्य करते हुए सकारात्मक सोच के साथ उत्तरोत्तर बढ़ते हुए कड़ी मेहनत करना यही सफलता का मूलमंत्र है।स्वयं के अन्दर छुपी प्रतिभा वर्तमान शिक्षा प्रणाली को समझना छात्रों के लिए एक चुनौती पूर्ण हैं ।आगे कहा छात्रों को आगे बढ़ने के लिए स्वयं के लिए लक्ष्य निर्धारित करना होगा एक निश्चित समय सीमा के भीतर अपनी प्रतिभा को पहचान कर उन विषयों पर अधिक से अधिक समय दे और उन पर मेहनत करें तो सफलता सत प्रतिशत मिलेगी। वर्तमान शिक्षा प्रतिस्पर्धा का है इसलिए ज्यादा से ज्यादा ध्यान अपने पढ़ाई पर दे इसके अलावा पढ़ाई के दौरान मोबाईल के ज्यादा उपयोग से परहेज़ रखें ताकि ध्यान केवल पढ़ाई लिखाई एवं अपने लक्ष्य पर केंद्रित किया जा सके ।इस बीच अपने से बड़ों का उच्च पद पर कार्यरत लोगों से भी सहयोग लिया जा सकता हैं।इस खास मौके पर दानसिंग निषाद पूर्व जिलाध्यक्ष निषाद समाज गरियाबंद थानू राम निषाद शिक्षक एवं साहित्यकार की उपस्थिति थे।

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