पर्यावरण दिवस के अवसर पर आज विकासखंड की सभी 72 ग्राम पंचायतों में मनाया गया पर्यावरण उत्सव

गरियाबंद/फिंगेश्वर (गंगा प्रकाश)। गांव गांव में बने अमृत सरोवरों में आज फिंगेश्वर जनपद पंचायत अंतर्गत सभी ग्राम पंचायतों में चल रहे मनरेगा अन्तर्गत कामों के मजदूर, सरपंच, सचिव, ग्राम रोजगार सहायकों, वार्ड पंचो एवं गणमान्य नागरिकों ने पर्यावरण उत्सव मनाते हुए पर्यावरण संरक्षण के संबंध में अमृत सरोवर तालाबों में मानव श्रृंखला का निर्माण, संकल्प, शपथ लेते हुए लगभग 710 पौधो का वृक्षारोपण किया। इस बारे में जानकारी देते हुए जनपद पंचायत फिंगेश्वर के सीईओ अजय पटेल ने कहा कि इस मौके पर अमृत सरोवर स्थलों पर वृक्षारोपण अभियान, सफाई गतिविधियों, जल संरक्षण एवं जैव विविधता के महत्व के बारे में जागरूकता अभियान आयोजित करते हुए, जल निकायों के कायाकल्प एवं जीर्णोद्वार के सकारात्मक प्रभावों को भी प्रदर्शित किया गया। इसके साथ ही महात्मा गांधी नरेगा अंतर्गत गांवो में पर्यावरण प्रबंधन को बढ़ावा देने के लिए 5 जून से 12 जून तक स्वच्छ हरित ग्राम सप्ताह का आयोजन भी किया जाएगा। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी नरेगा, भारत सरकार, ग्रामीण विकास मंत्रालय भारत सरकार द्वारा पर्यावरण संरक्षण एवं पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग छत्तीसगढ़ द्वारा अमृत सरोवर स्थलों को स्थायी प्रतीक के रूप में आदर्श संरचना मानते विश्व पर्यावरण दिवस 5 जून के अवसर पर एक विशेष उत्सव मनाया गया। श्री पटेल ने कहा कि ग्राम पंचायतों एवं अमृत सरोवर के पास विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर विभिन्न गतिविधियां आयोजित की जाएगी। पर्यावरण दिवस उत्सव के दौरान ग्राम पंचायतों के नागरिकों, हितग्राहियों को आयोजन से संबंधित गतिविधियों के बारे में जानकारी देते हुए प्रोत्साहित किया गया। अमृत सरोवर किनारे सामूहिक प्रयास से विश्व पर्यावरण दिवस समारोह को सफल बनाने के लिए मनरेगा कार्यक्रम अधिकारियों को निर्देशित किया गया है।

स्वच्छ हरित ग्राम सप्ताह का आयोजन गांवों में पर्यावरण प्रबंधन को बढ़ावा देने हेतु महात्मा गांधी नरेगा अंतर्गत 05 जून से 12 जून 2024 तक स्वच्छ हरित ग्राम सप्ताह का आयोजन किया जाएगा। श्री पटेल ने कहा कि इस दौरान भू-जल को रिचार्ज करने एवं भराव को लंबे अवधि तक रोकने में सोक पिट का निर्माण करने प्रोत्साहित किया जाएगा। इसके अलावा वर्मी कम्पोस्ट, नाडेप पिट से जैविक कचरे को पोषक तत्व के रूप में जैविक खाद बनाने, कचरे से कम्पोस्ट खाद, अपशिष्ट पदार्थो का पुनः उपयोग एवं गैर-बायोडिग्रेडबेल कचरे का रिसायकलिंग के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।

0Shares

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *