CGNEWS: मैनपुर में सड़क सुरक्षा की गूंज! बाइक रैली से लेकर फिल्मी सितारों की मौजूदगी तक—यातायात जागरूकता अभियान बना यादगार

CGNEWS: मैनपुर में सड़क सुरक्षा की गूंज! बाइक रैली से लेकर फिल्मी सितारों की मौजूदगी तक—यातायात जागरूकता अभियान बना यादगार

 

मैनपुर/गरियाबंद(गंगा प्रकाश)। गरियाबंद जिले के मैनपुर में सड़क सुरक्षा आमतौर पर शांत माने जाने वाला मैनपुर इलाका सोमवार को जबरदस्त हलचल का गवाह बना, जब सड़कों पर हेलमेट पहने स्कूली बच्चों, पुलिस जवानों और आम नागरिकों की बाइक रैली निकली। मकसद था एक—”सड़क सुरक्षा और ट्रैफिक नियमों को लेकर हर नागरिक को जागरूक बनाना!” इस भव्य यातायात जागरूकता अभियान ने न सिर्फ लोगों को आकर्षित किया, बल्कि उन्हें सोचने पर मजबूर भी किया कि नियमों का पालन आखिर कितना जरूरी है।

बाइक रैली से गूंज उठीं सड़कों की धड़कन

सुबह का माहौल पूरी तरह बदला हुआ था। सायरन, नारों और रैली के नारों से पूरा मैनपुर गूंज उठा। स्कूली बच्चों के चेहरे पर जोश था, तो पुलिस जवानों के चेहरों पर संकल्प। यह कोई आम रैली नहीं थी, बल्कि एक ऐसा संदेश था जिसे सड़क से सीधा लोगों के दिलों तक पहुंचाया गया—“हेलमेट पहनो, सीट बेल्ट लगाओ, ज़िंदगी बचाओ।”

लाइसेंस भी, इलाज भी—जनसेवा की अनूठी मिसाल

कार्यक्रम स्थल पर लगाई गई संयुक्त विभागीय प्रदर्शनी में गरियाबंद ट्रैफिक पुलिस, आरटीओ और स्वास्थ्य विभाग ने अपने-अपने स्टॉल लगाए। यहां लोगों को मौके पर ही निःशुल्क लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनाने का अवसर मिला। वहीं, स्वास्थ्य विभाग की ओर से लगाई गई नेत्र जांच शिविर में सैकड़ों लोगों ने आंखों की जांच करवाई।

यह पहली बार था जब ग्रामीण क्षेत्र में इस स्तर का तकनीकी और सेवामूलक आयोजन देखने को मिला, जिसमें युवाओं से लेकर वरिष्ठ नागरिकों तक ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।

कलाकारी से सुरक्षा तक—हर वर्ग की भागीदारी

बच्चों के लिए आयोजित चित्रकला प्रतियोगिता में ट्रैफिक नियमों को लेकर कई बेहतरीन कलाकृतियाँ सामने आईं, जिन्हें देख आयोजकों की आंखें भर आईं। वहीं, आम नागरिकों को हेलमेट वितरण कर सड़क पर सुरक्षित रहने का संदेश दिया गया।

फिल्मी सितारों की मौजूदगी बनी आकर्षण का केंद्र

इस आयोजन को खास बनाने पहुंचे छत्तीसगढ़ी फिल्म इंडस्ट्री के सुपरस्टार आकाश सोनी और लोकप्रिय अभिनेत्री ज्योत्सना ताम्रकार, जिनकी एक झलक पाने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी। मंच से उन्होंने युवाओं को ट्रैफिक नियमों का पालन करने के लिए प्रेरित किया।

आकाश सोनी ने कहा, “हीरो वही है जो नियम माने, और दूसरों की जान की कद्र करे। हेलमेट पहनना स्टाइल नहीं, समझदारी है।”

ज्योत्सना ताम्रकार ने कहा, “किसी भी फिल्म से बड़ी होती है ज़िंदगी की हकीकत, और उसमें ट्रैफिक नियमों की भूमिका सबसे अहम होती है।”

एसपी राखेचा का सशक्त संदेश

गरियाबंद के पुलिस अधीक्षक निखिल राखेचा ने इस आयोजन की कमान संभाली और लोगों से सीधे संवाद करते हुए कहा—

“ट्रैफिक नियमों का पालन कोई मजबूरी नहीं, बल्कि एक जिम्मेदारी है। जुर्माने से डरने की बजाय ज़िंदगी की हिफाज़त को प्राथमिकता दें। समाज में जब हर व्यक्ति खुद से बदलाव लाना शुरू करेगा, तभी हम दुर्घटना-मुक्त गरियाबंद बना पाएंगे।”

लोग बोले—अब नहीं करेंगे लापरवाही!

कार्यक्रम के बाद जब हमने कुछ स्थानीय नागरिकों से बात की, तो उनकी प्रतिक्रियाएँ बेहद उत्साहजनक रहीं।

राजेश्वर साहू, एक स्थानीय किसान ने कहा— “पहली बार हमें लगा कि हेलमेट पहनना सिर्फ कानून नहीं, हमारी खुद की ज़रूरत है।”

सविता चौधरी, एक छात्रा बोली— “अब मैं पापा से कहूँगी कि बिना हेलमेट बाइक पर नहीं बैठूंगी।”

निष्कर्ष:

मैनपुर का यह जागरूकता अभियान सिर्फ एक सरकारी कार्यक्रम नहीं था, बल्कि यह जनचेतना की अलख थी। अगर ऐसे प्रयास लगातार होते रहें, तो वह दिन दूर नहीं जब गरियाबंद जिला दुर्घटना-मुक्त और ट्रैफिक अनुशासन में मिसाल बन सकता है।

 

1.”हेलमेट हो सिर का अभिमान, तभी सुरक्षित रहेगा जान!”

2.”रफ्तार पर लगाम लगाओ, ट्रैफिक नियम अपनाओ!”

3.”लाइसेंस और नियम से चलो, सड़क पर सुरक्षित पल चलो!”

4.”यातायात का सम्मान करें, दुर्घटनाओं से जान बचाएं!”

 

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