CG:“संवेदनशील प्रशासन की संजीवनी बनी अनुकंपा नियुक्ति — चन्द्रशेखर ध्रुव को मिला रोजगार, परिवार को मिला सहारा”

ग्राम कोचवाय के समाधान शिविर में प्रभारी सचिव हिमशिखर गुप्ता ने सौंपी नियुक्ति, गरियाबंद में शासन की संवेदनशील नीति का दिखा असर
गरियाबंद(गंगा प्रकाश)। संवेदनशील प्रशासन की संजीवनी बनी अनुकंपा नियुक्ति गरियाबंद जिले में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के निर्देशों के अनुरूप प्रशासन एक संवेदनशील और जनहितैषी पहल को साकार रूप दे रहा है। अनुकंपा नियुक्ति जैसे संवेदनशील मामलों में त्वरित निर्णय लेकर न केवल दिवंगत शासकीय सेवकों के परिजनों को राहत दी जा रही है, बल्कि शासन की गरिमा और मानवता की मिसाल भी पेश की जा रही है। इसी क्रम में आज ग्राम कोचवाय में आयोजित जनसमस्या निवारण हेतु समाधान शिविर में जिले के प्रभारी सचिव हिमशिखर गुप्ता ने ग्राम पंडरीपानी निवासी चन्द्रशेखर ध्रुव को अनुकंपा नियुक्ति आदेश सौंपा।
चन्द्रशेखर ध्रुव के पिता, स्व. तुलस राम ध्रुव का शासकीय सेवा के दौरान आकस्मिक निधन हो गया था। पिता की मृत्यु के पश्चात पूरा परिवार मानसिक एवं आर्थिक संकट से जूझ रहा था। परिवार पर जैसे दुखों का पहाड़ टूट पड़ा हो। ऐसे समय में शासन की अनुकंपा नीति उनके लिए संजीवनी बनकर आई। चन्द्रशेखर ने नियमानुसार अनुकंपा नियुक्ति के लिए आवेदन प्रस्तुत किया, जिसे जिला प्रशासन ने गंभीरता से लेते हुए प्राथमिकता दी और महज कुछ ही समय में सारी औपचारिकताएं पूरी कर उनके लिए नियुक्ति आदेश जारी किया गया।

समाधान शिविर में प्रभारी सचिव श्री गुप्ता ने उन्हें पंचायत सचिव (कर्मी) पद पर नियुक्ति पत्र सौंपते हुए कहा, “यह नौकरी केवल एक सरकारी दस्तावेज नहीं, बल्कि आपके पिता की सेवा का सम्मान है। इसे पूरी ईमानदारी और निष्ठा के साथ निभाएं।” उन्होंने चन्द्रशेखर को शुभकामनाएं दी और उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
परिवार के चेहरे पर लौटी मुस्कान
नियुक्ति पत्र प्राप्त करते ही चन्द्रशेखर की आँखें नम हो गईं। उन्होंने कहा, “आज मुझे न केवल नौकरी मिली है, बल्कि मेरे पिता के अधूरे सपनों को पूरा करने का अवसर भी मिला है। शासन की नीति और प्रशासन की तत्परता के कारण मेरा परिवार अब आर्थिक रूप से सुरक्षित महसूस कर रहा है।” चन्द्रशेखर ने राज्य शासन, कलेक्टर बी एस उइके और जिला पंचायत के अधिकारियों के प्रति आभार व्यक्त किया।
प्रशासन की संवेदनशीलता की मिसाल
जिला प्रशासन गरियाबंद द्वारा अनुकंपा नियुक्तियों के लंबित प्रकरणों को निराकृत करने हेतु विशेष अभियान चलाया जा रहा है। कलेक्टर श्री उइके स्वयं इन मामलों की नियमित समीक्षा कर रहे हैं और संबंधित अधिकारियों को निर्देश दे रहे हैं कि ऐसे मामलों में कोई अनावश्यक विलंब न हो। इसके चलते जिले में अनुकंपा नियुक्तियों का प्रतिशत अन्य जिलों की तुलना में बेहतर नजर आ रहा है।
समाधान शिविर में दिखा शासन की योजनाओं का असर
कोचवाय में आयोजित समाधान शिविर में विभिन्न विभागों की योजनाओं की जानकारी भी आम नागरिकों को दी गई। लोगों की समस्याओं को मौके पर ही सुलझाने के लिए संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद रहे। यह शिविर शासन और जनता के बीच एक मजबूत सेतु के रूप में कार्य कर रहा है।
जनसेवा की ओर एक और कदम
चन्द्रशेखर ध्रुव जैसे युवा अब शासन की नीतियों के माध्यम से न केवल अपने जीवन को पुनर्स्थापित कर रहे हैं, बल्कि ग्राम स्तर पर सेवा देकर समाज के निर्माण में भी योगदान देंगे। यह घटना इस बात का प्रमाण है कि जब नीति, नीयत और प्रशासन की संवेदनशीलता एक साथ आती है, तो वह जनमानस के जीवन में नई रोशनी भर सकती है।
उम्मीदों की लौ जगी
आज अनुकंपा नियुक्ति पाने वाले चन्द्रशेखर अकेले नहीं हैं, उनके साथ जिले के सैकड़ों परिवारों के लिए यह एक प्रेरणा बनकर उभरे हैं। यह नियुक्ति न केवल उनका अधिकार थी, बल्कि प्रशासनिक इच्छाशक्ति का जीवंत प्रमाण भी है कि सिस्टम में अब संवेदना के लिए भी जगह है।