नई दिल्ली. कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को देवउठनी एकादशी या प्रबोधिनी एकादशी कहा जाता है। इस दिन भगवान विष्णु चार महीने की योगनिद्रा से जागते हैं और विवाह, मांगलिक कार्यों की शुरुआत होती है। वर्ष 2025 में देवउठनी एकादशी का पर्व पूरे देश में धूमधाम से मनाया जाएगा। इस दिन तुलसी विवाह भी किया जाता है, जो धार्मिक दृष्टि से बेहद शुभ माना जाता है।

Chhattisgarh Registry Records : रजिस्ट्री राजस्व में रचा इतिहास, तेलंगाना-झारखंड-उत्तराखंड को पछाड़ा

🌿 देवउठनी एकादशी 2025 की तिथि और शुभ मुहूर्त

  • तिथि आरंभ: 1 नवंबर 2025, शनिवार की शाम से

  • तिथि समाप्त: 2 नवंबर 2025, रविवार दोपहर तक

  • एकादशी पूजा मुहूर्त: प्रातः 6:15 बजे से 8:45 बजे तक

  • पारण का समय: 3 नवंबर की सुबह 6:30 बजे के बाद

देवउठनी एकादशी का महत्व

मान्यता है कि इस दिन भगवान विष्णु क्षीरसागर से उठकर सृष्टि के कार्यों का संचालन पुनः आरंभ करते हैं। इसलिए इस तिथि को विवाह, गृह प्रवेश, नामकरण, और अन्य शुभ कार्यों की शुरुआत के लिए सबसे मंगलकारी माना गया है।

देवउठनी एकादशी की पूजा विधि (Puja Vidhi)

  1. सुबह स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें।

  2. घर के मंदिर में भगवान विष्णु और तुलसी माता की स्थापना करें।

  3. भगवान विष्णु को गंगाजल से स्नान कराएं।

  4. पीले फूल, तुलसी दल, चंदन, धूप, दीप और नैवेद्य अर्पित करें।

  5. ‘ॐ नमो भगवते वासुदेवाय’ मंत्र का जाप करें।

  6. शाम को तुलसी विवाह की तैयारी करें और तुलसी को शालिग्राम जी से विवाह कराएं।

तुलसी विवाह की सामग्री (Tulsi Vivah Puja Samagri)

  • तुलसी का पौधा

  • शालिग्राम (भगवान विष्णु का प्रतीक)

  • हल्दी, कुमकुम, चावल, फूल

  • पान के पत्ते, सुपारी, नारियल

  • दीपक, अगरबत्ती

  • मिठाई, गुड़, पूड़ी, हलवा आदि भोग

भोग और प्रसाद

देवउठनी एकादशी पर भगवान विष्णु को पंचामृत, माखन-मिश्री, खीर, पूरी-सब्जी और तुलसी दल का भोग लगाना शुभ माना जाता है। व्रतधारी अगले दिन पारण करते हैं।

धार्मिक मान्यता

मान्यता है कि जो भक्त इस दिन व्रत रखकर तुलसी विवाह और विष्णु पूजा करते हैं, उन्हें विष्णु लोक की प्राप्ति होती है और उनके जीवन में सुख, शांति और समृद्धि आती है।

Share.

About Us

Chif Editor – Prakash Kumar yadav

Founder – Gangaprakash

Contact us

📍 Address:
Ward No. 12, Jhulelal Para, Chhura, District Gariyaband (C.G.) – 493996

📞 Mobile: +91-95891 54969
📧 Email: gangaprakashnews@gmail.com
🌐 Website: www.gangaprakash.com

🆔 RNI No.: CHHHIN/2022/83766
🆔 UDYAM No.: CG-25-0001205

Disclaimer

गंगा प्रकाश छत्तीसगढ के गरियाबंद जिले छुरा(न.प.) से दैनिक समाचार पत्रिका/वेब पोर्टल है। गंगा प्रकाश का उद्देश्य सच्ची खबरों को पाठकों तक पहुंचाने का है। जिसके लिए अनुभवी संवाददाताओं की टीम हमारे साथ जुड़कर कार्य कर रही है। समाचार पत्र/वेब पोर्टल में प्रकाशित समाचार, लेख, विज्ञापन संवाददाताओं द्वारा लिखी कलम व संकलन कर्ता के है। इसके लिए प्रकाशक, मुद्रक, स्वामी, संपादक की कोई जवाबदारी नहीं है। न्यायिक क्षेत्र गरियाबंद जिला है।

Ganga Prakash Copyright © 2025. Designed by Nimble Technology

WhatsApp us

Exit mobile version