गरियाबंद (गंगा प्रकाश)। गरियाबंद पुलिस ने एक अंतर्राज्यीय चोर गिरोह का पर्दाफाश कर बड़ी सफलता हासिल की है। थाना देवभोग और अमलीपदर में घटित चार चोरी के मामलों का खुलासा करते हुए पुलिस ने उड़ीसा और छत्तीसगढ़ के कुल छह आरोपियों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 96 मोबाइल फोन, सोना-चांदी के आभूषण, मूर्तियाँ, नगदी राशि और घटना में प्रयुक्त वाहन जब्त किए हैं। कुल बरामद मशरूका और वाहन की कीमत ₹27,42,520 आंकी गई है।

कैसे टूटी चोरी की गुत्थी
थाना अमलीपदर क्षेत्र में 14 अक्टूबर 2025 की रात 12 बजे से लेकर सुबह 8 बजे के बीच बस स्टैंड चौक स्थित चंद्रशेखर सिंह ठाकुर की मोबाइल दुकान में सेंधमारी कर अज्ञात चोरों ने 73 मोबाइल और अन्य इलेक्ट्रॉनिक सामान चुरा लिए थे। मामले की रिपोर्ट दर्ज होने पर पुलिस ने अप.क्र. 115/25 धारा 331(4), 305 बीएनएस के तहत अपराध कायम कर जांच शुरू की।
मामले की गंभीरता को देखते हुए अनुविभागीय अधिकारी पुलिस मैनपुर विकास पाटले के नेतृत्व में विशेष टीम गठित की गई। इस टीम में थाना प्रभारी देवभोग निरीक्षक फैजुल होदा शाह और थाना प्रभारी अमलीपदर उपनिरीक्षक दिलीप मेश्राम शामिल थे। टीम ने उड़ीसा के चांदाहांडी, देवभोग और रायपुर के परसदा क्षेत्र में दबिश दी और एक-एक कर इस बड़े गिरोह का पर्दाफाश किया।
मुख्य आरोपी सूरज बारिक से खुला राज
पुलिस ने सूचना के आधार पर उड़ीसा के चांदाहांडी निवासी सूरज बारिक (21 वर्ष) को हिरासत में लेकर पूछताछ की। पूछताछ में उसने न सिर्फ अमलीपदर चोरी की वारदात स्वीकार की, बल्कि यह भी बताया कि उसके साथ भुवनेश्वर बारिक, लिंगराज नेताम, भूपेंद्र नेताम और देवाशीष राउत भी इस गिरोह में शामिल हैं।
सूरज की निशानदेही पर पुलिस ने उसके घर से 96 मोबाइल (कीमत ₹12,10,400) बरामद किए। साथ ही चोरी में प्रयुक्त मारुति ब्रेजा कार और हीरो पैशन प्रो बाइक भी जब्त की गई।

रायपुर में खपाए गए चोरी के सोना-चांदी
पूछताछ के दौरान आरोपियों ने खुलासा किया कि उन्होंने देवभोग और उरमाल में हुई तीन अन्य चोरी की वारदातों को भी अंजाम दिया है। चोरी का सामान उन्होंने रायपुर के परसदा निवासी दीप उर्फ ध्रुवा मिस्त्री और उसकी पत्नी प्रीत मिस्त्री को बेचने के लिए दिया था।
देवभोग पुलिस और स्पेशल टीम ने परसदा में दबिश देकर प्रीत मिस्त्री को गिरफ्तार किया, जबकि उसका पति दीप मिस्त्री फरार हो गया।
प्रीत मिस्त्री के घर से पुलिस ने सोने के 43.4 ग्राम आभूषण, 2.109 किलोग्राम चांदी की मूर्तियाँ व आभूषण, और ₹57,000 नगद बरामद किए, जिनकी कुल कीमत ₹8,45,120 है।
गिरफ्तार और फरार आरोपी
गिरफ्तार आरोपी:
1. भुवनेश्वर बारिक (42 वर्ष),2. लिंगराज नेताम (22 वर्ष),3. भूपेंद्र नेताम (20 वर्ष),4. सूरज बारिक (21 वर्ष),5. देवाशीष राउत (22 वर्ष) — सभी निवासी चांदाहांडी, नवरंगपुर (उड़ीसा),6. प्रीत मिस्त्री (33 वर्ष) — निवासी परसदा, रायपुर (छ.ग.)
फरार आरोपी:
दीप उर्फ ध्रुवा मिस्त्री (37 वर्ष), निवासी परसदा, रायपुर। पुलिस उसकी तलाश में जुटी है।
कुल बरामदगी का ब्योरा
96 मोबाइल फोन: ₹12,10,400,सोना-चांदी व मूर्तियाँ: ₹8,45,120,नगद राशि: ₹57,000,मारुति ब्रेजा कार: ₹6,00,000,हीरो पैशन प्रो बाइक: ₹30,000,कुल मूल्य: ₹27,42,520
आगे की कार्रवाई
सभी गिरफ्तार आरोपियों को न्यायिक रिमांड पर भेजा गया है। फरार आरोपी दीप मिस्त्री की तलाश जारी है। पुलिस अब आरोपियों की अवैध संपत्ति की कुर्की की प्रक्रिया शुरू करने जा रही है।
जिले के एसपी की सख्त निगरानी और एसडीओपी विकास पाटले के नेतृत्व में गठित टीम ने जिस तरह से उड़ीसा और छत्तीसगढ़ की सीमाओं को पार करते हुए गिरोह का भंडाफोड़ किया है, वह गरियाबंद पुलिस की सक्रियता और तकनीकी जांच की सफलता को दर्शाता है।
पुलिस की अपील
जिले के नागरिकों से पुलिस ने अपील की है कि वे अपने दुकानों और प्रतिष्ठानों में सीसीटीवी कैमरे अवश्य लगाएँ और रात में दुकानों को बंद करते समय आसपास की गतिविधियों पर नजर रखें।
इस सफलता से गरियाबंद पुलिस का मनोबल ऊँचा हुआ है और जिले में लगातार हो रही चोरी की घटनाओं पर लगाम लगाने की उम्मीद बढ़ गई है।
अंतर्राज्यीय गिरोह पर गरियाबंद पुलिस की यह बड़ी कार्रवाई न सिर्फ एक केस का खुलासा है, बल्कि सीमापार अपराधियों को चेतावनी भी — अब अपराध कहीं भी छिपा नहीं रह सकता।




