Cgnews:रेत माफिया का काला कारोबार: प्रशासन और नेताओं पर गंभीर आरोप, शिवसेना ने की बड़ी घोषणा!
दुर्गकोदल/कांकेर(गंगा प्रकाश)। कांकेर जिले में रेत माफिया का अवैध कारोबार दिनों-दिन बढ़ता जा रहा है, और इसे लेकर शिवसेना नेता सुखचंद मंडावी ने प्रशासन और कुछ नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने दावा किया कि चारामा, दुर्गकोदल, परतापुर, पखांजूर और कांकेर क्षेत्रों की नदियों में रेत माफिया द्वारा चेन माउंटेन मशीन और हाईवा के माध्यम से खुलेआम रेत की खुदाई की जा रही है। इस अवैध उत्खनन का न केवल पर्यावरण पर बुरा असर हो रहा है, बल्कि इसके चलते क्षेत्र के जलस्तर में भी खतरनाक गिरावट आई है।
प्रशासन की चुप्पी और रेत माफिया की दलाली!
शिवसेना नेता ने प्रेस विज्ञप्ति में आरोप लगाया कि रेत माफिया के खिलाफ कार्रवाई करने का जिम्मा जिन अधिकारियों पर है, वही माफिया से मिलीभगत कर उनके अवैध कारोबार को बढ़ावा दे रहे हैं। मंडावी ने कहा, “जब कोई सामाजिक कार्यकर्ता, जनप्रतिनिधि या नागरिक रेत चोरी को रोकने की कोशिश करता है, तो वही अधिकारी जिनकी जिम्मेदारी है रेत माफिया के खिलाफ कार्रवाई करना, वे माफिया से मिलीभगत करते हुए उनका बचाव करते हैं। यह स्थिति बेहद चिंताजनक है।”
मंडावी ने यह भी आरोप लगाया कि कुछ स्थानीय नेता जो जनता की सेवा का दावा करते हुए चुनाव जीतकर आए थे, वे खुद रेत माफिया से अवैध पैसे लेकर न केवल अपने व्यक्तिगत लाभ के लिए इसका इस्तेमाल कर रहे हैं, बल्कि गांवों में लड़ाई-झगड़े भी करवा रहे हैं। यह सवाल उठाते हुए शिवसेना ने पूछा, “क्या इन नेताओं का उद्देश्य जनता की सेवा करना था, या फिर वे रेत माफिया का कारोबार चलाने के लिए जनप्रतिनिधि बने हैं?”
जलस्तर में गिरावट: भविष्य में बढ़ेगा तटीय कटाव
रेत माफिया के अवैध उत्खनन के कारण जलस्तर में भारी गिरावट आई है, जो क्षेत्र के लिए बड़ा संकट बन चुका है। शिवसेना नेता ने चेतावनी दी कि यदि यह सिलसिला इसी तरह जारी रहा, तो न केवल जलस्तर और पर्यावरण प्रभावित होंगे, बल्कि आगे चलकर नदियों के तटीय क्षेत्रों में कटाव भी बढ़ेगा, जो बड़े पैमाने पर भूमि के नुकसान का कारण बनेगा।
मंडावी ने बताया, “रेत माफिया के द्वारा नदियों का सीना चीरकर रेत निकाली जा रही है, जिससे न केवल जलस्रोत समाप्त हो रहे हैं, बल्कि भूमि कटाव और बाढ़ के खतरे भी बढ़ रहे हैं। यह सिर्फ पर्यावरण के लिए ही नहीं, बल्कि स्थानीय लोगों के जीवन के लिए भी खतरे की घंटी है।”
शिवसेना का जन जागरूकता अभियान और विरोध प्रदर्शन
इस गंभीर मुद्दे पर शिवसेना ने बड़ा कदम उठाने का निर्णय लिया है। पार्टी ने घोषणा की है कि वह पूरे क्षेत्र में नुक्कड़ सभाओं और प्रदर्शन के माध्यम से रेत माफिया के खिलाफ जन जागरूकता अभियान चलाएगी। शिवसेना ने इसे न केवल स्थानीय स्तर पर, बल्कि प्रदेश स्तर पर भी एक बड़ा आंदोलन बनाने का ऐलान किया है।
मंडावी ने कहा, “हम जनता से अपील करते हैं कि वे रेत माफिया के खिलाफ आवाज उठाएं और प्रशासन से सख्त कार्रवाई की मांग करें। शिवसेना अपने कार्यकर्ताओं के साथ पूरे क्षेत्र में प्रदर्शन करेगी और इस मुद्दे को बड़े मंचों तक पहुंचाएगी।”
नेताओं से सवाल: जनता की सेवा या रेत माफिया के साथ मिलकर कारोबार?
शिवसेना ने साफ तौर पर नेताओं से सवाल किया है कि वे किसके लिए काम कर रहे हैं – जनता के हित में या फिर रेत माफिया के काले कारोबार को बढ़ावा देने के लिए? पार्टी ने यह चेतावनी भी दी कि यदि समय रहते रेत माफिया के खिलाफ ठोस कदम नहीं उठाए गए, तो शिवसेना इस मुद्दे को लेकर बड़े आंदोलन की तैयारी कर रही है।
शिवसेना का संदेश: रेत माफिया के खिलाफ कड़ा कदम उठाए प्रशासन
शिवसेना ने प्रशासन से तत्काल प्रभाव से रेत माफिया के खिलाफ कार्रवाई करने की अपील की है। पार्टी का कहना है कि यदि प्रशासन ने इस मामले को हल्के में लिया, तो शिवसेना अपनी आंदोलन की दिशा को और तेज करेगी, ताकि अवैध रेत उत्खनन को रोका जा सके और क्षेत्र के पर्यावरण व जलस्तर की सुरक्षा हो सके।