भागवत कथा के दूसरे दिन भगवताचार्य ने अपने संगीतमय प्रवचन से श्रद्धालुओं को किया मंत्रमुग्ध, रात्रिकालिन सांस्कृतिक कार्यक्रम में नागरिक जमकर उठा रहे लुफ्त

 

फिंगेश्वर (गंगा प्रकाश)। नगर में चल रही श्रीमद् भागवत महापुराण कथा ज्ञान भक्ति यज्ञ के दूसरे दिन भगवताचार्य बाल कथा व्यास पं. सुरेन्द्र कृष्ण शास्त्री जी महाराज श्री धाम वृन्दावन ने अपनी ओजस्वी शैली में आज के प्रसंग व्यास नारद संवाद, भगवान कपिल देवहूति संवाद पर काफी सहज एवं सरल भाषा में श्रद्धालुओं को बताया कि हमारे ऊंचे और श्रेष्ठ कर्म ही हमारे जीवन को सुखमय एवं यशस्वी बनाते है। हमें महज ज्ञान को सुनना नहीं बल्कि जीवन में उतारकर ईश्वरीय आदेशों के अनुसार जीवन बनाना है। उन्होंने कहा कि ज्ञान ही वो अस्त्र है, जिससे हम विषम परिस्थिति में अपने आपको स्थिर बनाए रख सकते है। सदैव याद रखना चाहिए की ईश्वरीय ऊर्जा हमारे साथ है, हमारे साथ हमेशा अच्छा से अच्छा होगा। ऐसे सकारात्मक विचार हमें निरंतर सही दिशा में आगे लेकर जाऐंगे और हम अन्य के भी प्रेरणा के पात्र बनेंगे। भगवताचार्य द्वारा कथा बीच बीच में संगीतमय प्रस्तुति लगातार करने से श्रद्धालुजन भी उसमें रम जाते है। आज के प्रसंग व्यास नारद संवाद, भगवान कपिल देवहूति संवाद को भी उपस्थित जनों को भी उपस्थित जनों को बताई। कथा के प्रारंभ में भागवत आयोजक पंकज-अंकिता शर्मा के रिश्तेदारों ने व्यासपीठ की भव्य आरती की। आज भागवत का श्रवण करने कुमारी बाई शर्मा, संतोष-पद्मनी शर्मा, विरेन्द्र-भुवनेश्वरी शर्मा, कमलेश-अंशु शर्मा, भूपेन्द्र-रेणुका शर्मा,दीपक-पूजा शर्मा, विनय-सीता शर्मा सहित हरिशंकर-कमला शुक्ला, श्रीमती उषा शुक्ला, घनश्याम-राजलक्ष्मी शुक्ला, विद्यानंद-किरण शुक्ला, महेश-शशी शुक्ला, श्रीधर-अनसुया शुक्ला, ब्रजेश-रूचि शुक्ला, आशुतोष-भारती शुक्ला, सुदीर-अनुराधा शुक्ला आदि काफी संख्या में भागवत प्रेमियों ने कथा का श्रवण किया। रात्रि 7 बजे भागवत मंच में पं. विवेक शर्मा एंड गु्रप म्यूजिकल भजन नाईट का जोरदार कार्यक्रम हुआ। जिसमें गीत-संगीत से श्रोता अंतिम तक गीत का आनंद लिया। कल बुधवार को धु्रव-सती एवं प्रहलाद चरित्र पर भगवताचार्य अपनी कथा प्रस्तुत करेंगे। भागवत प्रेमियों से अधिक से अधिक संख्या में कथा श्रवण करने की अपील है।

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