
जगदलपुर(गंगा प्रकाश)। बस्तर की मूल पहचान उसके सुंदर प्राकृतिक परिवेश , समृद्ध जनजातीय संस्कृति और शांत वातावरण से रही है। हमने एक साल में बस्तर की मूल पहचान वापस देने का महती कार्य किया है। आज बस्तर की प्रशंसा केवल भारत ही नहीं, पूरी दुनियां में हो रही है। संयुक्त राष्ट्र पर्यटन संगठन ने ग्राम धुड़मारास को विश्व के 20 सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांवों में सम्मिलित किया है।
उक्त बातें मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज जगदलपुर के पीजी कॉलेज हॉस्टल मैदान में आयोजित विकास कार्यो के लोकार्पण-शिलान्यास कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुये कही। उन्होंने इस मौके पर 356 करोड़ 44 लाख रूपये लागत के 288 विकास कार्यों का लोकार्पण और भूमिपूजन और विभिन्न योजनाओं के तहत हितग्राहियों को एक करोड़ पचपन लाख रूपये से अधिक की राशि का चेक और सामग्री का वितरण किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि बस्तर अंचल की तरक्की और उन्नति के लिये राज्य सरकार पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। बस्तर अंचल की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुये सभी बुनियादी सुविधायें और संसाधन उपलब्ध कराये जा रहे हैं। बस्तर में हम विश्वास के साथ विकास करना चाहते हैं , जिसमें हमें सफलता मिल रही है। छत्तीसगढ़ की जनता से मोदी की गारंटी के रूप में हमने जो वादा किया था वह हर वादा हम निभा रहे हैं। सरकार बनने के एक साल के भीतर ही मोदी की गारंटी में से अधिकांश को हमने पूरा किया है। सीएम साय ने कहा कि बस्तर के संवेदनशील इलाके के लोगों को आवास उपलब्ध कराने के लिये हमारी सरकार द्वारा केंद्र सरकार से किये गये अनुरोध पर इन क्षेत्रों के लिये पृथक से पंद्रह हजार प्रधानमंत्री आवास भी स्वीकृति दी गई है। सीएम ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने अठारह लाख पीएम आवास स्वीकृति की गारंटी दी थी उसे पूरा करते हुये हमारी सरकार की शपथ के दूसरे ही दिन हमने आवासहीन हितग्राहियों को आवास की स्वीकृति दी। स्वीकृत पीएम आवास अब बनते जा रहे हैं और लाभान्वित परिवारों का गृह प्रवेश भी हो रहा है। उन्होंने कहा कि 07 जनवरी को देश के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान छत्तीसगढ़ आ रहे हैं , इस दिन भी प्रदेश में आवासहीन हितग्राहियों को लाभान्वित किया जायेगा। उन्होंने कहा कि हमने नक्सल प्रभावित और पिछड़े क्षेत्रों के विकास के लिये नियद नेल्ला नार योजना की शुरुआत की , जिसमें सुरक्षा कैम्पों के पांच किलोमीटर की परिधि में स्थित गांवों में सरकार की 17 विभागों के 53 कल्याणकारी योजनाओं और 28 सामुदायिक सुविधाओं के तहत मूलभूत सुविधाओं का विकास तेजी से सुनिश्चित कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने राष्ट्रीय शिक्षा नीति भी लागू कर दी है , आज प्रदेश के स्कूलों में अठारह स्थानीय भाषा में पढ़ाई हो रही है। बस्तर में बच्चे हल्बी एवं गोंडी बोली में पढ़ाई कर रहे हैं , डॉक्टर बनने की इच्छा रखने वाले हमारे युवाओं की हित में हमने एमबीबीएस की पढ़ाई हिन्दी माध्यम में करवाने का निर्णय लिया है। पीएम श्री स्कूल योजना में 341 स्कूलों में आधुनिक शिक्षा के अनुकूल व्यवस्था कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि शहर और गांवों का विकास अनवरत हो रहा है। पूरे प्रदेश में एक साल के अन्दर शहरी क्षेत्र के विकास के लिये सात हजार करोड़ रूपये जारी किया जा चुका है। वहीं उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुये नगर पंचायत बस्तर में अमृत मिशन योजनांतर्गत घर-घर शुद्ध पेयजल पहुँचाने के लिये पचास करोड़ रूपये देने की घोषणा की। वन एवं सहकारिता मंत्री केदार कश्यप ने कहा कि केंद्र में प्रधानमंत्री मोदी और प्रदेश में मुख्यमंत्री साय की डबल इंजन की सरकार है , जिससे विकास की गति तेज हुई है। कार्यक्रम को राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा , जगदलपुर विधायक किरण सिंह देव और बस्तर सांसद महेश कश्यप ने भी सम्बोधित किया। इस अवसर पर लोकसभा क्षेत्र कांकेर भोजराज नाग , विधायक द्वय विनायक गोयल एवं चैतराम अटामी सहित क्षेत्र के अन्य जनप्रतिनिधि और गणमान्य नागरिक बड़ी संख्या में मौजूद थे।