CG NEWS: 100 गौवंश तस्करों के चंगुल से मुक्त, दो आरोपी गिरफ्तार – गौ सेवा समिति और पुलिस की बड़ी कार्रवाई

CG NEWS : 100 गौवंश तस्करों के चंगुल से मुक्त, दो आरोपी गिरफ्तार – गौ सेवा समिति और पुलिस की बड़ी कार्रवाई

 

लैलूंगा/रायगढ़ (गंगा प्रकाश)। रायगढ़ जिले के लैलूंगा थाना क्षेत्र अंतर्गत मड़िया कछार गांव में रविवार दोपहर गौ तस्करी की बड़ी घटना का खुलासा हुआ। गौ सेवा समिति के सम्राट महंत को सूचना मिली कि कुछ लोग बड़ी संख्या में गौवंश को मारपीट कर ले जा रहे हैं। सूचना मिलते ही महंत ने अपनी टीम को सक्रिय किया और गौ रक्षकों से संपर्क कर मौके पर पहुंचे।

मौके पर पहुंचकर उन्होंने देखा कि लगभग 100 गौवंश, जिनमें अधिकतर गायें और बैल शामिल थे, उन्हें दो व्यक्तियों द्वारा संदिग्ध अवस्था में ले जाया जा रहा था। गौ रक्षकों ने दोनों को रोका और पूछताछ की, लेकिन वे संतोषजनक जवाब नहीं दे सके। इसके बाद मामले की गंभीरता को देखते हुए लैलूंगा थाना प्रभारी को सूचना दी गई। साथ ही खरसिया क्षेत्र के प्रमुख गौ रक्षक राकेश केसरवानी को भी मामले की जानकारी दी गई।

पुलिस की तत्परता, पंचनामा कार्रवाई और गिरफ्तारियां

सूचना मिलते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और तुरंत कार्रवाई करते हुए मौके पर मौजूद 49 जोड़ी (लगभग 98) गौवंश को कब्जे में लेकर पंचनामा तैयार किया गया। दोनों आरोपियों को हिरासत में लेकर थाने लाया गया, जहां उनसे पूछताछ जारी है।

गौ सेवा समिति के सम्राट महंत, अन्य गौ सेवक और पुलिस बल के सहयोग से सभी गौवंश को सुरक्षित लैलूंगा लाया गया है। फिलहाल मवेशियों को समिति की देखरेख में अस्थायी गौशाला में रखा गया है, जहां उनकी देखभाल की जा रही है।

लैलूंगा में बढ़ती तस्करी: चिंता का विषय

यह पहली बार नहीं है जब लैलूंगा क्षेत्र में इस प्रकार की गौ तस्करी की सूचना मिली हो। क्षेत्र में लंबे समय से गौवंश तस्करी का अवैध धंधा सक्रिय है। स्थानीय निवासियों और समाजसेवियों का कहना है कि ऐसे मामलों में कार्रवाई तो होती है, लेकिन मुख्य सरगनाओं तक पुलिस कब पहुंचेगी, यह अब भी सवाल बना हुआ है।

सम्राट महंत ने संवाददाताओं से बात करते हुए कहा, “हमारी समिति निरंतर गौवंश की सुरक्षा के लिए काम कर रही है। पुलिस का सहयोग सराहनीय रहा, लेकिन इस प्रकार की घटनाओं को रोकने के लिए प्रशासन को सख्त और स्थायी कदम उठाने की जरूरत है।”

आगे की कार्रवाई की प्रतीक्षा

गिरफ्तार किए गए दोनों आरोपियों से पूछताछ के आधार पर पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि मवेशियों को कहां ले जाया जा रहा था और इनके पीछे कौन-से बड़े तस्करी गिरोह सक्रिय हैं।

पुलिस सूत्रों के अनुसार आरोपियों के खिलाफ पशु क्रूरता अधिनियम, छत्तीसगढ़ गोवध प्रतिषेध अधिनियम और अन्य संबद्ध धाराओं में मामला दर्ज कर कानूनी कार्रवाई की जा रही है।

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