
भागवत दीवान
कोरबा (गंगा प्रकाश)। कोयला कर्मियों को अब बोनस का इंतजार हो चला है। कर्मियों के बोनस को लेकर कोल इंडिया प्रबंधन द्वारा 28 सितंबर को रांची स्थित सीएमपीडीआइ में बैठक आहूत की गयी है। बैठक पर एसईसीएल समेत अन्य कोल कंपनियों के करीब 2.30 लाख कर्मियों की निगाहें टिकी हुई हैं। इस साल भी अगर पुराने ट्रेंड पर बोनस राशि का निर्धारण हुआ तो कर्मियों को 75,500 से 81,000 रूपए तक मिलने की उम्मीद है।
कोल इंडिया के पिछले 10 वर्षों के ट्रेंड पर गौर करें तो पता चलता है कि बोनस न्यूनतम 3000 और अधिकतम 8500 रूपये की बढ़ोत्तरी हुई है। बढ़ोत्तरी का यही क्रम रहा तो इस साल दुर्गापूजा पर कोलकर्मियों को 75,500 रुपया से 81,000 रुपया तक बोनस मिल सकता है। पिछले वर्ष कर्मियों को 72,500 रुपये बोनस मिला था। वहीं वर्ष 2020 में 68,500 रुपये मिला था। यानी वर्ष 2020 की तुलना में वर्ष 2021 में बोनस की राशि में 4000 की बढ़ोतरी हुई। वर्ष 2014 और 2015 में सर्वाधिक 8500 रूपए तक बढ़ोत्तरी हुई थी । सबसे कम 3000 रूपए बोनस वर्ष 2017 में बढ़ा था। इस साल कोलकर्मियों को कितना बोनस (परफॉर्मेंस लिंक रिवार्ड) मिलेगा इस पर निर्णय बैठक में होगा। बोनस की बैठक के पूर्व यूनियन नेता भी अधिक से अधिक बोनस दिए जाने की मांग को लेकर प्रबंधन पर दबाव बनाने के मूड में है। कुछ यूनियन 1 लाख तक बोनस दिए जाने की मांग कर रहे हैं। इसे लेकर कोल इंडिया प्रबंधन को यूनियन नेता पत्राचार भी कर चुके हैं।इधर एटक, एचएमएस, बीएमएस और सीटू समेत अन्य ट्रेड यूनियनों के नेता गोलबंद हो इस बार अधिक से अधिक बोनस दिलाने का दावा कर रहे हैं । कारण कोल इंडिया इस साल मुनाफे में है। एसईसीएल कर्मियों को सबसे पहले बोनस का भुगतान होने की उम्मीद है । बैठक में हुए निर्णय के बाद तय राशि कोयला कर्मियों के खाते में जल्द ही पहुंच सकती है। इसे लेकर बाजार में रौनक देखने को मिलेगी। बाजार में बूम रहेगा। एसईसीएल के अलावा अन्य उपक्रमों के कर्मियों को भी बोनस के रूप में भारी-भरकम राशि मिलेगी। यही वजह है कि व्यापारी भी स्टॉक भरने में जुटे हुए हैं । नए-नए ऑफर भी बाजार में देखने को मिलेंगे।